संदेश

NITISH KUMAR लेबल वाली पोस्ट दिखाई जा रही हैं

बहाली के लिए ‘बवाल’ क्यों जरूरी हर बार?

चित्र
  एक तरफ जहां छठे चरण के तहत नियुक्ति पत्र हासिल करने के लिए 42 हजार बेरोजगारों को 32 महीने का लंबा इंतजार करना पड़ा। इस नियुक्ति पत्र के लिए भी कई बार धरना प्रदर्शन देना पड़ा, लाठियां खानी पड़ी। वहीं दूसरी तरफ 3 साल के इंतजार के बाद भी 90 हजार अभ्यर्थी धरने पर बैठने को मजबूर हैं। पटना के गर्दनीबाग में धरने पर बैठे ये वो बेरोजगार हैं, जो पिछले 3 सालों से एक अदद नौकरी के इंतजार में हैं। CTET-BTET पास करीब 90 हजार की संख्या में ऐसे अभ्यर्थी हैं जिन्हें पिछले 3 सालों से बहाली प्रक्रिया के लिए सिर्फ आश्वासन के सिवाय कुछ नहीं मिला है। ये अभ्यर्थी सातवें चरण के विज्ञापन निकालने और बहाली की प्रक्रिया जल्द शुरु करने की मांग कर रहे हैं। जिसके बाद मजबूरन इन्हें गर्दनीबाग में अपनी आवाज़ बुलंद करने के लिए धरना देना पड़ रहा है। अभ्यर्थी अगर मार्च में ही सातवें चरण के नोटिफिकेशन की मांग कर रहे हैं तो इसके पीछे वजह है शिक्षा विभाग से मिले बार-बार आश्वासन। ज़रा अखबारों में छपी शिक्षा मंत्री और शिक्षा विभाग के हवाले से छपी खबरों पर गौर कीजिए। कभी जनवरी-फरवरी तो कभी जल्द तो कभी मार्च में सातवें चर...

बिहारियों को फ्लॉवर समझा है क्या?

चित्र
हाल ही में एक फिल्म आई थी पुष्पा। जिसमें फेमस डॉयलॉग है। फ्लॉवर समझा है क्या, फायर हूं।  बिहारी अपनी प्रतिभा के दम पर भले ही दूसरे राज्यों में फायर साबित हो रहे हों, लेकिन दूसरे राज्य के नेता क्या बि हारियों को फ्लॉवर समझते है? खास तौर पर कांग्रेस नेताओं को क्या बिहारियों से नफरत है।  क्या कांग्रेस को बिहारियों से दिक्कत है। ये सवाल इसीलिए क्योंकि बिहारियों को लेकर पंजाब के सीएम चरणजीत सिंह चन्नी का 'भईया' वाला बयान और बयान पर प्रियंका गांधी की ताली बजाती तस्वीर आई तो खूब बवाल हुआ। चन्नी के चवन्नी छाप बयान को लेकर कांग्रेस पर खूब सवाल हुआ। लेकिन इस बयान के आए अभी 15 दिन ही बीते थे कि अब कांग्रेस के एक और नेता का बिहारियों को लेकर ज़हर उगलने वाला बयान सामने आया है। तेलंगाना कांग्रेस अध्यक्ष रेवंत रेड्डी तेलंगाना सीएम के चंद्रशेखर राव पर हमला करते हुए बिहारियों पर वार करने लगे। रेवंत रेड्डी ने केसीआर को बिहार मूल बताकर केसीआर का बिहारी डीएनए बता दिया और बिहार के कानून व्यवस्था को लेकर निशाना साधने लगे। तेलंगाना कांग्रेस अध्यक्ष रेवंत रेड्डी "आप सभी जानते हैं कि बिहार की राजन...

शराब पीने वालों को नहीं होगी जेल ! सुप्रीम कोर्ट की फटकार का असर तो नहीं?

चित्र
  ‘’ शराब पीने वाला हैवान बन जाता है। ‘’ सीएम नीतीश कुमार समाज सुधार अभियान के दौरान अपने हर भाषण में ये बात कहते हैं और शराब पीने वालों को जमकर कोसते हैं। दूसरी तरफ पूर्ण शराबबंदी की सफलता के लिए ड्रोन से लेकर हेलीकॉप्टर तक स्वान दस्ता से लेकर आतंकवाद निरोधक दस्ता तक लगाए गए हैं। लेकिन इसी शराबबंदी में अब शराब पीने वालों को जेल नहीं होगी। जी हां आपने सही सुना। शराब पीते हुए अगर कोई पकड़ा जाता है, तो उसे जेल नहीं होगी। लेकिन एक शर्त है। उत्पाद आयुक्त कृष्ण कुमार सिंह दरअसल मद्य निषेध और उत्पाद विभाग ने एक बड़ा फैसला लिया है। .शराब पीकर पकड़े जाने पर आरोपी अगर पुलिस की मदद करेगा तो उसे जेल नहीं जाना पड़ेगा। सोमवार को उत्पाद आयुक्त कृष्ण कुमार सिंह ने बताया कि अगर कोई शख्स शराब पीकर पकड़ा जाता है, और उसकी निशानदेही पर अगर शराब की बरामदगी होती है और शराब तस्कर पकड़ा जाता है तो विभाग शराब पीने वाले को कानूनी प्रक्रिया के तहत सहायता देगा और जेल भी नहीं जाना पड़ेगा। इस फैसले पर सियासत भी शुरू हो गई। कांग्रेस ने कहा है कि सरकार पूरी तरह कंफ्यूज हो गई है और शराबबंदी कानून इनके लिए गले की...

बिहार:- शिक्षा बजट में कंजूसी ! बहाल होने वाले सवा लाख शिक्षकों को वेतन कैसे देगी सरकार?

चित्र
  एक तरफ तो शिक्षा मंत्री विजय चौधरी सवा लाख शिक्षकों की नियुक्ति की तैयारी का दावा कर रहे हैं। छठे चरण के बाद सातवें चरण के तह नियुक्ति की प्रक्रिया जल्द शुरु करने का दावा है। लेकिन सवाल है कि क्या नए बहाल होने वाले सवा लाख शिक्षकों के लिए सरकार के पास बजट है। सवाल के जवाब के लिए लोगों की नज़रें टिकी थीं सोमवार को पेश हुए बजट पर और जब बजट पेश किया गया तो सवाल के जवाब में निराशा ही हाथ लगी। सोमवार को वित्त मंत्री तारकिशोर प्रसाद ने बजट आकार में 19 हज़ार करोड़ की बढ़ोतरी के साथ 2 लाख 37 हज़ार 691 करोड़ का बजट पेश किया गया। वैसे तो 6 सूत्री लक्ष्यों को फोकस करते हुए बजट को बताया गया, जिसमें शिक्षा, स्वास्थ्य, कृषि, समाज कल्याण और आधारभूत सरंचना शामिल है। लेकिन आंकड़ों की बाजीगरी और खेल में वित्त मंत्री ने ये नहीं बताया कि वो नए नियुक्त शिक्षक और आने वाले दिनों में नियुक्त होने वाले सवा लाख शिक्षकों को वेतन कहां से देंगे ? ये सवाल इसीलिए क्योंकि हर साल की तरह इस साल भी भले ही बजट का सबसे ज्यादा हिस्सा शिक्षा पर खर्च किया जाएगा। लेकिन ये सुनने में सिर्फ अच्छा लगता है। हकीकत में पिछले स...

शराबबंदी के लिए सीएम का ‘समाज सुधार’, शराबबंदी पर ‘सुप्रीम’ सवाल लगातार

चित्र
शराबबंदी को लेकर सीएम नीतीश कुमार लगातार समाज सुधार अभियान पर है। बिहार के हर जिले में जाकर नीतीश शराबबंदी के फायदे गिना रहे हैं और शराबबंदी के विरोध करने वालों को कोसते हैं। वहीं शराबबंदी की सफलता के लिए मद्य निषेध विभाग को ड्रोन से लेकर हेलीकॉप्टर तक मुहैया कराए गए हैं। बिहार में शराब की एक बूंद भी कहीं ना मिले, शराब का कोई धंधा ना हो। इसके लिए सरकार ने पूरी मशीनरी झोंक दी है। स्वान दस्ता से लेकर आतंकवाद निरोधक दस्ता तक। ड्रोन से लेकर हेलीकॉप्टर तक। सबकुछ शराब के खिलाफ अभियान में लगाया गया है। लेकिन सीएम नीतीश के इस ड्रीम प्रोजेक्ट पर सुप्रीम कोर्ट लगातार सवाल उठा रहा है और बार-बार बिहार सरकार को फटकार लगा रहा है। सुप्रीम कोर्ट ने एकबार फिर बिहार में शराबबंदी पर सवाल उठाया है और नीतीश सरकार से कहा-पूछा किस आधार पर की थी शराबबंदी ? शराबबंदी कानून के उल्लंघन के एक आरोपी की याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस संजय किशन कौल और एमएम सुंदरेश की पीठ ने कहा कि हाईकोर्ट के लगभग हर बेंच में बिहार में शराबबंदी कानून से जुड़ी याचिकाएं हैं. इसलिए हमें यह जानना जरुरी है कि क्या बिहार सरकार ने इन का...

बहाली, बवाल और सवाल : सिस्टम के ‘MERIT’ के खेल में फंसे STET उम्मीदवार? शिक्षक बहाली में विवाद क्यों होता है बार-बार?

चित्र
ये दोनो तस्वीरें बिहार में शिक्षक बहाली से जुड़ी हुई हैं। एक में अभ्यर्थियों को 32 महीने के इंतजार के बाद नियुक्ति पत्र मिल रहा है और उनके चेहरे पर खुशी है। जबकि दूसरी तस्वीर में भी शिक्षक अभ्यर्थी हैं, जो STET 2019 की परीक्षा में पास हुए और सड़क पर प्रदर्शन और लाठी खाने को मजबूर है।   सवाल है कि आखिर शिक्षक बहाली में आखिर इतना झोल क्यों हो जाता है। क्यों किसी बहाली के लिए अभ्यर्थियों को बार-बार प्रदर्शन और हंगामा करना पड़ता है। आखिर STET 2019 के अभ्यर्थी क्यों सड़क पर उतरने को मजबूर हैं? इन सवालों का जवाब समझने के लिए थोड़ा पीछे चलते हैं और कैसे इन अभ्यर्थियों को अलग-अलग बयानों और बातों के ज़रिए गुमराह किया जाता रहा।  12 मार्च को STET 19 के रिजल्ट के बाद छपी खबर तारीख-12 मार्च 2021 STET 19के 12 विषयों का रिजल्ट जारी पेपर 1 और 2 में24,599 अभ्यर्थी हुए सफल 37 हजार रिक्तियों के मुकाबले 24,599 सफल अभ्यर्थी ‘सभी पास अभ्यर्थियों को नौकरी का भरोसा’ STET 2019 का रिजल्ट 12 मार्च 2021 को जारी किया गया था। 15 में 12 विषयों का रिजल्ट जारी किया गया। जिसमें पेपर 1 और पेपर 2 में कुल 24,599 ...

जिस IAS के लिए जेडीयू दफ्तर में जिंदाबाद के नारे लगे थे, जिसे नीतीश के सिपहसालार ने माला पहनाया था, जिसे नीतीश ने चुनाव लड़वाया था, आज सीबीआई ने सृजन घोटाले में उसके खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी

चित्र
2000 करोड़ के सृजन घोटाले में चार्जशीट, 5 करोड़ से ज्यादा के महादलित विकास मिशन के ट्रेनिंग घोटाले में चार्जशीट, भूमि विवाद न्यायधिकरण में सदस्य रहते हुए विवादित फैसले, कई बार गिरफ्तारी वारंट, फिर भी एक बार जेल नहीं गए के पी रमैया 6 साल पहले 4 मार्च 2014 की तस्वीर शायद ही आपको याद हो, लेकिन इस तस्वीर को ज़रा गौर से देखिए और चेहरों को पहचानिए। पटना स्थित जेडीयू कार्यालय की इस तस्वीर में जेडीयू के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह, प्रवक्ता संजय सिंह, मंत्री श्याम रजक, प्रवक्ता राजीव रंजन नज़र आ रहे होंगे। और वशिष्ठ नारायण सिंह के ठीक बगल में जो शख्स बैठे हैं और जिन्हें माला पहनाया जा रहा है वो हैं के पी रमैया, बिहार के पूर्व IAS अधिकारी। ये उस वक्त की तस्वीर है, जब के पी रमैया VRS लेकर जेडीयू ज्वाइन किया था और पूरे ताम झाम के साथ जेडीयू के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने ना सिर्फ स्वागत किया था, बल्कि के पी रमैया जिंदाबाद के नारे भी लगे थे और फिर वशिष्ठ बाबू ने के पी रमैया के IAS रहते हुए किए काम की तारीफों के पुल भी बांधे थे ज़रा वो भी सुनिए। इसके बाद के पी रमैया को नीतीश ने 2014 ...

कोरोना के 10 हजार टेस्ट पर ही स्वास्थ्य मंत्री के दावे हो गए फुस्स, सीएम नीतीश दिखा रहे हैं 20 हजार टेस्ट का सपना

चित्र
नेताओं के बारे में वैसे कहा जाता है कि उनकी जुबां से निकली बात सिर्फ और सिर्फ जुमला ही होती है। एक बार फिर ये साबित किया है बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने। 5 जून को मंत्री जी ने ट्वीट कर बड़े दमखम से दावा किया था कि 20 जून तक दस हजार जांच की क्षमता का लक्ष्य हासिल कर लिया जाएगा। लेकिन 20 जून को जब मंत्री जी का ट्वीट खंगाला गया तो खोदा पहाड़ निकला चुहिया वाली कहावत चरितार्थ हो गई। आप खुद देखिए कैसे स्वास्थ्य मंत्री 20 जून को ट्वीट कर कहते हैं कि आज 5600 सैंपल की जांच हुई वो भी लगभग में।  लेकिन इसमें भी मंत्री जी को अपनी उपलब्धि नज़र आ रही है। लेकिन हकीकत ये है कि उन्होने जो दावा किया था, वो ना सिर्फ फुस्स हो गया, बल्कि दस हजार के लक्ष्य से करीब आधे ही रहा। अब पता नहीं मंत्री जी किस मुख से दोबारा दावा करेंगे। लेकिन मामला यहीं नहीं खत्म होता है। बिहार के सुशासन में इतना गड़बड़झाला है कि स्वास्थ्य मंत्री दस हजार के लक्ष्य से आधे पर ही फुस्स हो जा रहे हैं और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हैं कि ना सिर्फ पीएम के सामने ये दावा करते हैं कि दस हजार टेस्ट हर रोज हो रहे हैं, बल्कि वो...